newsmantra.in l Latest news on Politics, World, Bollywood, Sports, Delhi, Jammu & Kashmir, Trending news | News Mantra
Corporate Press Release

सूक्ष्म एवं लघु उद्योगों के ट्रिब्युनल में लांबित मामलों की वजह से दम तोड़ रहे है उद्योग – बुवानीवाला

सूक्ष्म एवं लघु उद्योगों के ट्रिब्युनल में लांबित मामलों की वजह से दम तोड़ रहे है उद्योग - बुवानीवाला

व्यापारी सम्मेलन 11 अगस्त को पानीपत में – गुलशन डंग
भिवानी। अपराधियों के बढ़ते हौसलों पर रोक लगाने और प्रदेश में कानून व्यवस्था को मजबूती के लागू करने की मांग राष्ट्रीय जन उद्योग व्यापार संगठन के प्रदेश अध्यक्ष गुलशन डंग ने की। डंग आज स्थानीय निजी रेस्टोरेंट में पत्रकार वार्ता को संबोधित करते हुए उन्होंने बताया कि हरियाणा में व्यापारी डर के साए में जीने को मजबूर हैं। ऐसा कोई जिला नहीं जहां व्यापारियों के पास रंगदारी के धमकी भरे फोन न आ रहे हों। इससे प्रदेशभर के व्यापारियों में डर और भय का माहौल बना हुआ है। व्यापारियों से विदेशी नंबरों के जरिए धमकी भरी कॉल किए जाते हैं। वहीं कई व्यापारियों को रुपए का इंतजाम करने के लगातार धमकी भरे कॉल आ रहे हैं। डंग ने कहा कि 11 अगस्त को पानीपत में व्यापारियों का प्रदेश स्तरीय सम्मेलन होगा जिसमें हरियाणा के प्रतिपक्ष के नेता चौ0 भूपेंद्र सिंह हुड्डा मुख्य अतिथि होंगे। कार्यक्रम की अध्यक्षता हरियाणा कांग्रेस के अध्यक्ष चौ0 उदयभान करेंगे। हरियाणा के पूर्व मंत्री एवं विधायकों को भी आमंत्रित किया गया है। प्रदेशभर के व्यापारी एवं उद्योगपतियों को सरकार से सामंजस्य रखने में आ रही परेशानियों को मुख्य अतिथि श्री हुड्डा के सामने रखा जाएगा ताकि सरकार आने पर उनका निवारण किया जा सके। संगठन के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष अशोक बुवानीवाला ने कहा कि हुड्डा की सरकार के समय में निवेश का मूल्यांकन करें तो नए निवेश प्रोजेक्ट्स हरियाणा का योगदान घटकर 1ण्06 फीसदी पर आ गया है। ये इसका छह साल का निचला स्तर है जो कि एक साल पहले करीब 3 फीसदी पर था। देश के इंडस्ट्रियल प्रोजेक्ट्स में हरियाणा का योगदान घटना चिंता का बड़ा कारण हो सकता हैए क्योंकि ये राज्य हुड्डा सरकार के कार्यकाल में तेज विकास दर हासिल कर रहा था।
बुवानीवाला ने कहा कि हरियाणा के इंडस्ट्रियल योगदान को देखें तो इसके साल 2022-23 में इंडस्ट्रियल आउटपुट में 30 फीसदी का लेवल आ गया है और ये बीजेपी सरकार की नीतियों की वजह से  घटकर 39,000 करोड़ रूपये पर आ गया हैए ये भारी गिरावट दिखाता है क्योंकि साल 2021-22 में ये आंकड़ा 56,000 करोड़ रूपए का था। इसके चलते ही ये साल 2022-23 में 9वें स्थान पर आ गया है। वहीं अगर मैन्यूफैक्चरिंग निवेश की बात करें तो ये 60 फीसदी गिरकर केवल 9,500 करोड़ रूपए तक आ पहुंचा है।
बुवानीवाला ने कहा कि शुक्ष्म एवं लघु उद्योगों के लिए बनाई गई पॉलिसी एवं टिब्यूनल का कामकाज भी सुचारू रूप से नहीं चल रही। उन्होंने कहा कि पिछले 6 वर्षों से उद्योगों के ट्रिब्युनल में मामले लांबित पड़े है। छोटी पूंजी वाले लघु उद्योग इन लांबित मामलों की वजह से दम तोड़ रहे है। बुवानीवाला ने उद्योगों के बिजली पर लगे नियत शुल्क पर भी सवाल उठाए। प्रेम धमीजा-जिला अध्यक्ष, हरिश ठकुराल-जिला महामंत्री, हरीश शर्मा, दीपक जांगड़ा, अमन गुप्ता आदि मौजूद रहे।

Related posts

Odisha discusses roadmap to become India’s skilling capital

Panel Discussion on ‘Opportunities for India’s Participation in Global Value Chains’ Convened by BRIEF

Serentica Renewables Wins ‘Renewable Energy Platform of the Year’ at The Asset Triple A Sustainable Infrastructure Awards 2023

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. Accept Read More